बिना जमीन अधिग्रहण के ही कठौतिया माईंस में हिंडाल्को कर रहा है खनन

बिना जमीन अधिग्रहण के ही कठौतिया माईंस में हिंडाल्को कर रहा है खनन

-- अरूण कुमार सिंह

पलामू के पड़वा प्रखंड क्षेत्र में अवस्थित कठौतिया माईंस में हिंडाल्को कंपनी द्वारा बिना जमीन अधिग्रहण के ही कोयला खनन करने का मामला प्रकाश में आया है । इस बावत जब जिला खनन पदाधिकारी आनंद कुमार से पूछा गया तो उन्होंने कहा कि बिना जमीन अधिग्रहण किये खनन नहीं किया जा सकता है । लेकिन कंपनी ऐसा कर रही है तो इस बावत उसके प्रबंधन और सरकार ही बता सकते हैं ।

रैयतों से औने-पौने दाम पर ली जमीन, एग्रीमेंट करवाया और खनन शुरू कर दिया...

गत 14 मार्च को छतरपुर विधायक पुष्पा देवी, मनीष जायसवाल एवं अर्पणा सेन गुप्ता ने झारखंड विधानसभा में ध्यानाकर्षण प्रस्ताव के तहत पूछा था कि - "पलामू जिलान्तर्गत पड़वा प्रखण्ड के कठौतिया माईन्स में हिडाल्को कम्पनी द्वारा कोयला खनन का कार्य किया जा रहा है । जिसमें नियम के मुताबिक रैयतों को जमीन का मुआवजा सही पैमाने पर देकर ही खनन कार्य किया जाना तय हुआ था । लेकिन वर्तमान में हिडाल्को कम्पनी द्वारा रैयतों को डरा धमका कर औने पौने दाम में जमीन अधिग्रहण कर खनन कार्य किया जा रहा है । साथ ही साथ कम्पनी द्वारा सुरक्षा मानकों का भी ख्याल नहीं रखा जा रहा है । जिससे पिछले दिनों एक व्यक्ति की मौत भी हो गई थी जिसका अभी तक मुआवजा राशि भी कम्पनी द्वारा भुगतान नहीं किया गया है। साथ ही सरकार द्वारा जारी गाईडलाईन के अनुरूप निजी क्षेत्रों में 75 प्रतिशत स्थानीय उम्मीदवारों को नियोजन में भागीदारी का भी ख्याल नहीं रखा गया है। कम्पनी द्वारा डरा धमका कर जमीन अधिग्रहण कर खनन कार्य किये जाने से रैयतों में काफी रोष व्याप्त है। अतः मैं पड़वा प्रखण्ड के कठौतिया माईंस के रैयतों को जमीन का उचित मुआवजा राशि का भुगतान एवं स्थानीय उम्मीदवारों को 75 प्रतिशत नियोजन करने के पश्चात् ही एवं सुरक्षा मानकों के मापदण्ड को पूरा करने के बाद दी खनन कार्य कराने हेतु सदन के माध्यम से सरकार का ध्यान आकृष्ट कराती हूं ।"

सरकारी जवाब आया - 'कंपनी को भूमि अधिग्रहण के तहत भूमि का हस्तांतरण नहीं किया गया है'

इस मामले पर लिखित सरकारी वक्तव्य प्रात हुआ है जिसमें कहा गया है कि - "मेसर्स हिण्डाल्को को पलामू जिले के पण्डवा अंचल अन्तर्ग मौजा-कजरी, कठौतिया,पाल्हे खुर्द, गाड़ीखास, बटसारा, सिक्का एवं सरबुई के 687.93 हे० का दिनांक 07 10.2016 से 30 वर्षों हेतु खनन पट्टा स्वीकृत है। हिंडाल्को कम्पनी को भूमि अधिग्रहण अधिनियम के तहत भूमि का हस्तांतरण नहीं किया गया है। हिंडाल्को कम्पनी एवं रैयतों के बीच परस्पर सहमति के आधार पर कोयला खनन कार्य किया जा रहा है। माननीय झारखण्ड उच्च न्यायालय, राँची द्वारा पारित आदेश के आलोक में सीएनटी एक्ट की धारा 19 के अंतर्गत बिना अनुमति के कब्जा करने, उत्खनन कार्य करने एवं मुआवजा का भुगतान इत्यादि के बावत निष्पादनार्थ अनुमण्डल पदाधिकारी की अध्यक्षता में एक कमिटि गठित है। डरा-धमका कर औने-पौने दाम में जमीन अधिग्रहण कर खनन कार्य करने संबंधी आवेदन अबतक अप्राप्त है। खान एवं खदानों की सुरक्षा की जिम्मेवारी खान सुरक्षा महानिदेशालय (DGMS) श्रम एवं रोजगार मंत्रालय, भारत सरकार के अधीन है तथा समय-समय पर महानिदेशक (खान) सुरक्षा द्वारा जांच कराया जाता है। लीज क्षेत्र अंतर्गत पिछले दिनों एक व्यक्ति की मौत के संबंध में पण्डवा थाना में प्राथमिकी दर्ज कराकर जांच की जा रही है। कम्पनी द्वारा मानवीय मूल्यों के आधार पर दस लाख रूपये एक मुश्त सहायता राशि देने के लिए सहमति‌ प्रदान किया गया है। झारखण्ड राज्य के निजी क्षेत्र में स्थानीय उम्मीदवारों का नियोजन अधिनियम, 2021 एवं नियमावली, 2022 के अनुपालन के क्रम में हिंडालकों इंडस्ट्रीज लिमिटेड, पलामू को अधिनियम के अंतर्गत निबंधन कराने हेतु जिला नियोजन पदाधिकारी डाल्टेनगंज द्वारा पत्रांक-45 दिनांक- 08.02.2023 एवं प्रथम स्मार पत्रांक- 117 दिनांक 10.03.2023 द्वारा निर्देशित किया गया है। हिंडाल्को कंपनी द्वारा कुल 666 व्यक्तियों में 581 स्थानीय व्यक्तियों को रोजगार मुहैया कराया गया है ।

रैयतों को वाजिब मुआवजा मिलेगा : विधायक

छतरपुर विधायक पुष्पा देवी ने कहा कि इस मामले को सदन में उठाने के बाद सरकार ने आश्वस्त किया है कि रैयतों को वाजिब मुआवजा मिलेगा ‌। बताते चलें कि पिछले दिनों कंपनी द्वारा किए जा रहे खनन स्थल पर पर्याप्त खनन सुरक्षा के अभाव में एक स्थानीय व्यक्ति की मौत हो गयी थी जिसके लिए कंपनी दस लाख रूपये मुआवजा देगी । विधायक का कहना है कि सरकारी गाइडलाइन के मुताबिक 75% स्थानीय लोगों को रोजगार देना है। जिसका पालन कंपनी द्वारा नहीं किया जा रहा है। सरकार ने 10 दिनों के अंदर 10 लाख मुआवजा देने के बारे में और उच्च स्तरीय जाँच को लेकर आश्वस्त किया है।