एनएचएआई 39 के प्रभावित रैयतों ने बैठक कर कहा : समान मूल्य पर हर जगह के जमीन का मुआवजा दिया जाए नहीं तो होगा आंदोलन

एनएचएआई 39 के प्रभावित रैयतों ने बैठक कर कहा : समान मूल्य पर हर जगह के जमीन का मुआवजा दिया जाए नहीं तो होगा आंदोलन

विश्रामपुर (पलामू) । एनएचएआई 39 अधिग्रहण में प्रभावित रैयतों की बैठक गुरुवार को विश्रामपुर प्रखंड के जरका स्थित दुर्गा मंदिर स्थित के निकट बाजार प्रांगण में की गई। बैठक का नेतृत्व अभिमन्यु उर्फ बबलू सिंह ने किया। बैठक में विश्रामपुर व नावाबाजार प्रखंड के 15 गांव के रैयतों ने भाग लिया। रैयतों ने जमीन अधिग्रहण में आ रही विसंगतियों का मामला उठाया ।

अभिमन्यु सिंह ने कहा कि एनएचआई के द्वारा बनने वाले फोरलेन सड़क निर्माण में विश्रामपुर प्रखंड के शंखा गांव से नावाबाजार प्रखंड के राजहारा तक का गांव आता है। यहां के हजारों रैयतों की अधिग्रहित की जाने वाली जमीन के उचित मुआवजे की राशि जिला प्रशासन के द्वारा नहीं दिया जा रहा है। सड़क किनारे के सभी जमीन व्यवसायिक श्रेणी में आते हैं। लेकिन प्रशासन 1932 के खतियान के आधार पर सभी रैयतों की जमीन को कृषि जमीन बताकर औने-पौने दाम पर अधिग्रहण करना चाहती है जो होने नहीं दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि भारतीय सर्वोच्च न्यालय के द्वारा यह स्पष्ट कहा गया है कि राज्य के द्वारा उचित न्यायिक प्रक्रिया का पालन किए बिना रैयतों को उनकी निजी संपति से जबरन वंचित करना या रैयतों को उचित मुआवजा न मिलना संविधान के अनुच्छेद 300ए का उल्लंघन है । भूमि अधिग्रहण अधिनियम 1894 में भी भूमि अधिग्रहण के लिये भू-मालिक को उचित मुआवजा देजा अनिवार्य शर्त है।  ऐसे में रैयतों को जिला प्रशासन के द्वारा उचित मुआवजा नहीं दिया जा रहा है तो प्रभावित 15 गांव के हजारों रैयत सड़क पर उतर कर आंदोलन करेंगे और निर्माण कार्य का विरोध करते हुए कार्य नहीं होने देंगे।

उन्होंने कहा कि रैयतों का लगभग 80 एकड़ जमीन अधिग्रहण हो रहा है। कुछ ऐसे भी रैयत हैं जिनका सड़क किनारे घर वक्त फुल जमीन है उसके अलावा कहीं भी उनका जमीन नहीं है।  ऐसे में वे कहां और कैसे रहेंगे इसका ख्याल जिला प्रशासन के द्वारा नहीं किया जा रहा। नियमानुसार पुनर्वास की नीति का पालन किया जाना भी जरूरी है। मौके पर राहुल दुबे, ओमप्रकाश पांडेय, रमाकांत चंद्रवंशी, अरविंद पांडेय, प्रदीप सिंह, पुरुषोत्तम सिंह, भीष्म नारायण सिंह, सहित 15 गांव के हजारों रैयत शामिल थे।

रैयतों की छह सूत्री मांग :-
1. एनएचआई 39 में शंखा से लेकर राजहारा तक के पड़ने वाले सभी भूमि को आवासीय श्रेणी में आते हैं। जिसके तहत रैयतों को मुआवजा दिया जाए। साथ हीं जहां का भी आवासीय मूल्य सबसे अधिक है उसी को आधार मानकर सभी जगहों पर लागू किया जाए। जैसे भंडार गांव का मूल्य सबसे अधिक है।‌
2. एनएचआई 39 में पड़ने वाले सभी मकानो का उचित मुआवजा दिया जाए।
3. एनएचआई 39 के कार्य शुरू होने के 6 महिना पहले सभी जमिन दाताओं का उनका उचित मुआवजा देकर
संतुष्ट किया जाए, जिससे जमिनदाताओं को अन्य जगह भुमि का क्रय कर अवास का निर्माण करा सके।
4. अवास के नजदीक के सभी भूमि को आवासीय मूल्य के अनुसार मुआवजा दिया जाए।
5. विश्रामपुर व नावावजार प्रखंड के सभी रैयतों के जमीन का प्रत्येक गांव में कैम्प लगाकर आनलाइन किया जाए।
6. जिन रैयतों के अधीन जीएम लैंड है,उसका मालबंदी व रशीद कट रहा है। उन रैयतों को भी गजट में शामिल कर उचित मुआवजा दिया जाए।

कहां कितना किस गांव में किया जा रहा जमीन का अधिग्रहण

1. शंखा - 5 एकड़
2.कधवन- 12 एकड़
3. कुण्डी- 2 एकड़
4. पीपरा- 6 एकड़
5. आरही- 1 एकड़
6. गेडूया - 2 एकड़
7. जरका - 1 एकड
8. गुरुी - 10 एकड़
9. भण्डार 12 एकड़
10. झानी- 01 एकड़
11. तुन्दुआ 1 एकड़
12. ब्रहम्मोरिया- 5 एकड़
13. बसना - 8 एकड
14. रजहारा- 10 एकड
15.बैरिया - एक एकड़